The best Side of treatment of piles in men
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हां, पवनमुक्तासन और भुजंगासन जैसे योगासन गुदा क्षेत्र में रक्त प्रवाह बढ़ाकर बवासीर से राहत देते हैं।
शरीराच्या वेगवेगळ्या भागात होणाऱ्या वेदना कोणत्या आजाराचे संकेत देतात?
अनियमित जीवनशैली: अधिक देर तक बैठने, व्यायाम न करने और गलत खानपान के कारण बवासीर हो सकता है।
सही पोषण, स्वच्छता और समय पर डॉक्टर की सलाह से बवासीर का उपचार संभव है।
इस ब्लॉग में हम बवासीर के कारण, लक्षण, घरेलू उपाय, आयुर्वेदिक चिकित्सा और जीवनशैली में बदलावों के बारे में विस्तार से चर्चा करेंगे ताकि आप इस समस्या को बेहतर तरीके से समझ सकें और इसे दूर कर सकें।
इसबगोल, त्रिफला जैसी प्राकृतिक चीज़ें कब्ज़ से राहत देने में मददगार हैं।
पाइल्स के लिए लेजर सर्जरी : सर्जन लेजर का उपयोग करके बवासीर में रक्त की आपूर्ति को कम कर देता है। पाइल्स लेजर सर्जरी में ब्लड सप्लाई कटने से बवासीर सिकुड़ जाती है।
आयुर्वेद में बवासीर को ‘अर्श’ कहा गया है। यह वात, पित्त एवं कफ तीनों दोषों के दूषित होने से होता है। इसलिए इसे त्रिदोषज रोग कहा गया है। जिस बवासीर में वात या कफ की प्रधानता होती है, वे अर्श शुष्क होते हैं। इसलिए मांसांकुरों में से स्राव नहीं होता है। जिस अर्श में रक्त या पित्त या रक्तपित्त की प्रधानता होती है, वे आर्द्र अर्श होते है। इसमें रक्तस्राव होता है। शुष्क अर्श में पीड़ा अधिक होती है।
जब मलद्वार की नसों पर अत्यधिक दबाव पड़ता है, तो वे सूज जाती हैं और बवासीर बनती है।
अक्सर साधारण जीवनशैली में बदलाव जैसे उच्च फाइबर आहार, पर्याप्त पानी पीना और नियमित व्यायाम के साथ प्रभावी ढंग से इस रोग को प्रबंधित किया जा सकता है।
बवासीर के लिए कौन-कौन से घरेलू उपाय सबसे प्रभावी हैं?
अधिक वजन होना भी पाइल्स का एक बहुत बड़ा कारण होता है, बवासीर को खत्म करने के लिए जरूरी है की आप अपना वजन घटायें। बहुत बार डॉक्टर्स भी पाइल्स के इलाज के लिए वजन घटाने की सलाह देते हैं। उसके लिए जरुरी है की आप नियमित रूप से एक्सरसाइज करें और अपनी डाइटरी हेबिट्स में उचित सुधार करें। ऐसा करके here आप घर पर ही बवासीर का इलाज कर सकते हैं और भविष्य में इस समस्या का शिकार होने से भी बच सकते हैं।
बवासीर से राहत पाने के लिए नियमित योग और हल्का व्यायाम करें।
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